प्रदेश की खनिज संपदा और निवेश की संभावनाओं को नए आयाम देने के लिए शुक्रवार को मध्यप्रदेश माइनिंग कॉन्क्लेव 2.0 का आयोजन किया गया। इस भव्य सम्मेलन का शुभारंभ मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने किया।
मुख्यमंत्री ने उद्घाटन सत्र में निवेशकों और उद्योगपतियों से सीधा संवाद करते हुए प्रदेश को खनन निवेश का प्रमुख हब बनाने का संकल्प व्यक्त किया।
मुख्य आकर्षण
शुभारंभ: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सम्मेलन का उद्घाटन किया और निवेशकों से वन-टू-वन चर्चा की।
- एमओयू हस्ताक्षर:
- कोल इंडिया लिमिटेड (CIL), मध्यप्रदेश शासन और राज्य खनिज निगम के बीच महत्वपूर्ण सहमति-पत्र (MoUs) पर हस्ताक्षर हुए।
- चर्चा के विषय:
- कोयला, चूना पत्थर, तेल और प्राकृतिक गैस समेत खनिजों की संभावनाओं पर मंथन।
- खनन में कृत्रिम बुद्धिमत्ता (AI) और मशीन लर्निंग (ML) जैसी उन्नत तकनीक का उपयोग।
- उद्योग एवं निवेश:
- 2000 से अधिक प्रतिभागी शामिल हुए।
- विशेष प्रदर्शनी में खनन क्षेत्र के आधुनिक मॉडल और उपकरण प्रदर्शित हुए।
शामिल प्रमुख औद्योगिक घराने
अडानी ग्रुप | आर्सेलर मित्तल | डेलॉइट | एचसीएल | कोल इंडिया लिमिटेड | SECL | MOIL | आई-एनर्जी समेत कई बड़े उद्योगपति एवं कंपनियाँ इस आयोजन का हिस्सा बनीं।
महत्व
- यह कॉन्क्लेव प्रदेश के खनन क्षेत्र को नई दिशा देगा—
- निवेश बढ़ाने का बड़ा मंच बनेगा,
- खनिज संसाधनों की खोज और दोहन को गति मिलेगी,
- उन्नत तकनीकों से खनन का आधुनिकीकरण होगा,
- रोजगार और औद्योगिक विकास में तेजी आएगी।
यह आयोजन मध्यप्रदेश को खनन निवेश का “राष्ट्रीय हब” बनाने की दिशा में मील का पत्थर साबित होगा।
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