निवाड़ी (मध्यप्रदेश):
मध्यप्रदेश के निवाड़ी जिले में कांग्रेस द्वारा आयोजित एक राजनीतिक प्रदर्शन अब गंभीर कानूनी और सामाजिक विवाद का रूप ले चुका है। कांग्रेस की प्रदेश प्रवक्ता रोशनी यादव के नेतृत्व में किए गए पुतला दहन कार्यक्रम के दौरान भयानक आगजनी की घटना सामने आई, जिसमें दो वरिष्ठ पत्रकार झुलस गए। इस मामले में पुलिस ने रोशनी यादव सहित कुल 8 कांग्रेस कार्यकर्ताओं के खिलाफ FIR दर्ज कर ली है।


क्या हुआ था 16 मई को?

16 मई की शाम को निवाड़ी में कांग्रेस कार्यकर्ताओं द्वारा राज्य सरकार के मंत्री विजय शाह के खिलाफ विरोध प्रदर्शन किया जा रहा था।
कार्यक्रम के तहत पुतला दहन किया जा रहा था, लेकिन पेट्रोल से आग लगाने के दौरान आग अनियंत्रित रूप से फैल गई, जिससे वहां मौजूद वरिष्ठ पत्रकार दीपक नीखरा और पत्रकार रूपेंद्र राय झुलस गए।

प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, पुतले में अत्यधिक मात्रा में ज्वलनशील पदार्थ डाला गया था, जिससे आग ने अचानक भयंकर रूप ले लिया और आसपास खड़े लोगों को अपनी चपेट में ले लिया।


पुलिस कार्रवाई और दर्ज धाराएं

वरिष्ठ पत्रकार दीपक नीखरा द्वारा थाने में आवेदन देने के बाद पुलिस ने तत्काल मामला दर्ज कर लिया।
FIR में निम्न धाराएं शामिल की गई हैं:

  • धारा 151 – लोक शांति भंग करने की आशंका
  • धारा 25, 125, 125A – जनप्रतिनिधित्व अधिनियम के उल्लंघन से संबंधित
  • धारा 190 – न्यायालय को गुमराह करने के इरादे से झूठी सूचना देना
  • धारा 223 – सुरक्षा में लापरवाही या दोष
  • धारा 287 – ज्वलनशील पदार्थ के उपयोग में लापरवाही

इन धाराओं के तहत कांग्रेस नेत्री रोशनी यादव, मुख्य आयोजक के रूप में नामजद की गई हैं। साथ ही कार्यक्रम में मौजूद अन्य 7 कार्यकर्ताओं को भी अभियुक्त बनाया गया है।


पत्रकारिता समुदाय में रोष

इस हादसे के बाद स्थानीय और राज्यस्तरीय पत्रकार संगठनों में भारी आक्रोश है। उन्होंने घटना की कड़ी निंदा करते हुए प्रशासन से मांग की है कि:

  • दोषियों पर कड़ी कार्रवाई की जाए
  • राजनीतिक कार्यक्रमों के दौरान मीडिया की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए
  • ज्वलनशील पदार्थों के उपयोग पर सख्त प्रतिबंध लगाया जाए

घटना का सामाजिक और राजनीतिक असर

यह हादसा केवल राजनीतिक लापरवाही का मामला नहीं, बल्कि यह सार्वजनिक सुरक्षा, मीडिया की स्वतंत्रता और ज़िम्मेदार विरोध प्रदर्शन की सीमाओं को लेकर एक बड़ा सवाल खड़ा करता है।
कांग्रेस की ओर से अभी तक कोई औपचारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, हालांकि स्थानीय संगठन ने घटना को दुर्भाग्यपूर्ण बताया है।


पुलिस का बयान

पुलिस ने स्पष्ट किया है कि मामले की विधिवत जांच की जा रही है और सीसीटीवी फुटेज, प्रत्यक्षदर्शियों के बयान और घायलों की मेडिकल रिपोर्ट के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। आरोपी फिलहाल जमानत पर रिहा हैं या तलब किए गए हैं।

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