पब्लिक फर्स्ट। उज्जैन। अमृत बैंडवाल ।
उज्जैन-आलोट लोकसभा क्षेत्र के सांसद अनिल फिरोजिया ने देश के प्रमुख तीर्थस्थल महाकालेश्वर मंदिर और महाकाल लोक परिसर की सुरक्षा को लेकर संसद में गंभीर चिंता जताई है। उन्होंने केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह से आग्रह करते हुए CISF और CRPF जैसे केंद्रीय सुरक्षा बलों की स्थायी तैनाती की मांग की है।
क्यों जरूरी है यह सुरक्षा?
सांसद फिरोजिया ने कहा कि महाकालेश्वर मंदिर अब एक विश्व स्तरीय तीर्थस्थल बन चुका है। हर साल करीब 7 करोड़ श्रद्धालु यहां दर्शन के लिए आते हैं। और वर्ष 2028 में प्रस्तावित सिंहस्थ महाकुंभ के दौरान यह संख्या 20 से 25 करोड़ तक पहुंच सकती है। ऐसे में मौजूदा सुरक्षा व्यवस्था अपर्याप्त साबित हो सकती है।
उन्होंने 25 जुलाई को गृह मंत्री अमित शाह से व्यक्तिगत भेंट कर महाकाल परिसर में केंद्रीय बलों की स्थायी तैनाती का निवेदन किया था। साथ ही, उन्होंने 3 मई 2025 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृह मंत्री को लिखित पत्र भी भेजा था।
सुरक्षा चुनौतियाँ भी उजागर कीं
फिरोजिया ने बताया कि क्षेत्र में हाल ही में कुछ सुरक्षा संबंधी घटनाएं, और SIMI और PFI जैसे संदिग्ध संगठनों की हलचल चिंता का विषय हैं। उन्होंने कहा कि इस पवित्र स्थल को किसी भी संभावित खतरे से बचाने के लिए केंद्रीय सुरक्षा बलों की स्थायी तैनाती अनिवार्य हो गई है।
राज्य सरकार की पहल भी सराहनीय
मध्यप्रदेश सरकार ने पहले ही मंदिर के लिए एक अलग थाना, और 400 से 600 होमगार्ड जवानों की तैनाती सुनिश्चित की है। लेकिन, केंद्रीय सुरक्षा बलों की मदद से यह सुरक्षा प्रणाली और अधिक मजबूत होगी।
इस प्रस्ताव को श्रद्धालुओं की आस्था, सुरक्षा और उज्जैन की प्रतिष्ठा को संरक्षित रखने की दिशा में बड़ा कदम माना जा रहा है।
