• श्रद्धालु हैरान कि आखिर कोई कैसे सिर पर उगा सकता है फसल |
  • पिछले 5 सालों से अनाज वाले बाबा सिर पर उगाए हैं फसल |
  • सोनभद्र से आए अनाज वाले बाबा अमरजीत 28 साल पहले बन गए थे सन्यासी |

प्रयागराज। महाकुंभ के आयोजन से पहले ही मेला क्षेत्र में बाबाओं  के अनेकों रंग देखने को मिल रहे हैं। इन दिनों सोनभद्र से अमरजीत उर्फ अनाज वाले बाबा सुर्खियां बटोर रहे हैं। आपको बता दे अनाज वाले बाबा पिछले 5 सालों से अपने सिर पर कई तरह के अनाज उगा रहे है। इसी वजह से इनका नाम अनाज वाले बाबा रख दिया गया। पर्यावरण के प्रति जागरूक करने के साथ ही देश में शांति बनी रहने के लिए बाबा ने अपने सिर पर ही खेती कर डाली। अनाज वाले बाबा से खास बातचीत करते हुए उन्होंने कहा कि वह है हठ योगी है और हठयोगी बनना आसान नहीं है विश्व शांति , विश्व कल्याण के साथ ही जिस तरीके से पेड़ों की कटाई हो रही है उससे आहत होकर उहोंने यह संकल्प लिया है। बाबा बताते है जहां कहीं भी वह जाते हैं हरियाली का संदेश देते हैं और इन्होंने अपने सिर पर चना, गेहूं ,बाजरा फसलों को लगाया है। सिर पर फसल उगा रहे बाबा का कहना है कि वह मटर, धान ,गेहूं भी उगा चुके हैं। समय-समय पर वह सिर पर पानी डाल करके फसल को मजबूती देते हैं और जो भी श्रद्धालु उनके पास आता है वह चावल देकर उनको आशीर्वाद देते हैं। मेला क्षेत्र में आ रहे श्रद्धालु भी अनाज वाले बाबा को देख कर हैरान है कि आखिर कैसे कोई व्यक्ति अपने सिर पर फसल उगा सकता है। इससे पहले अनाज वाले बाबा की रील भी काफी वायरल हुई थी। ऐसे में इस तरह का संकल्प लेना आश्चर्यचकित जरूर करता है।

अनाज वाले बाबा का कहना है कि वह बैठे-बैठे ही सो जाते हैं क्योंकि पिछले 5 सालों से वह लेट कर नहीं सोए है। अगर लेट जाएंगे तो उनकी फसल खराब हो जाएगी । बहरहाल बाबा किला घाट के पास एकांत में कल्पवास कर रहे हैं और मेला खत्म होने के बाद वह सोनभद्र वापस लौट जाएंगे।

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