उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राम मंदिर के प्रति अपनी अटूट प्रतिबद्धता व्यक्त करते हुए कहा है कि यदि आवश्यक हो, तो वे सत्ता भी त्यागने के लिए तैयार हैं।
उन्होंने जोर देकर कहा, “हम सत्ता के लिए नहीं आए हैं, बल्कि राम मंदिर के लिए समर्पित हैं।” मुख्यमंत्री ने यह भी उल्लेख किया कि तीन पीढ़ियाँ राम मंदिर आंदोलन के लिए समर्पित रही हैं, जिससे इस मुद्दे की गहराई और महत्व स्पष्ट होता है।
राम मंदिर आंदोलन का इतिहास दशकों पुराना है, जिसमें कई पीढ़ियों ने अपना योगदान दिया है।
मुख्यमंत्री का बयान:
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्पष्ट किया कि उनकी प्राथमिकता राम मंदिर का निर्माण है, न कि सत्ता में बने रहना। उन्होंने कहा, “हमारा उद्देश्य सत्ता नहीं, बल्कि राम मंदिर का निर्माण है। इसके लिए यदि सत्ता भी छोड़नी पड़े, तो हम तैयार हैं।”
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